कैबिनेट मंत्री अरोड़ा का अनूठा प्रयास: 101 प्राइमरी स्कूलों में स्मार्ट क्लास से ज्ञान प्राप्त करेंगे बच्चे

होशियारपुर (द स्टैलर न्यूज़)। पंजाब के कैबिनेट मंत्री उद्योग एवं वाणिज्य सुन्दर शाम अरोड़ा की तरफ से प्राइमरी स्कूलों में शिक्षा के स्तर को ऊंचा उठाने और आधुनिक सुविधाओं से लैस करने के उद्देश्य से होशियारपुर के 101 प्राइमरी स्कूलों में स्मार्ट क्लासिस शुरु की जा रही हैं। उन्होंने यह अनूठा प्रयास करके सरकारी प्राइमरी स्कूलों में बच्चों को आधुनिक ढंग एवं तकनीक से शिक्षा ग्रहण करने का मौका प्रदान करने की पहल की है।

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इस संबंध में श्री अरोड़ा ने पत्रकारवार्ता में बताया कि उन्होंने शहर के गणमान्यों और सूझवान लोगों के साथ विचार-विमर्श किया था कि सरकार की तरफ से मिलने वाली पहली ग्रांट से वह ऐसा कार्य करना चाहते हैं, जिसे आने वाली पीढिय़ों को भी लाभ मिलता रहे तथा सूझवान व्यक्तियों द्वारा शिक्षा के स्तर को ऊंचा उठाने के लिए प्रयास करने हेतु आग्रह किया गया था। जिसके उपरांत उन्होंने सरकारी प्राइमरी स्कूलों में स्मार्ट क्लासिस शुरु करवाने का निर्णय लिया और उसी कड़ी के तहत 101 स्कूलों में इसे बहुत जल्द ही शुरु किया जा रहा है। जिसके लिए जरुरी उपकरण खरीदने हेतु कोटेशन मांगी गई हैं तथा जो सबसे बेहतर उपकरण मुहैया करवाएगा उससे सामान लिया जाएगा, क्योंकि क्वालिटी के साथ किसी तरह का समझौता नहीं किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सरकारी स्कूलों में सुविधाओं की कमी से हजारों बच्चे स्कूल छोड़ जाते हैं। ऐसे में प्राइमरी शिक्षा को गुणात्मक बनाने के लिए यह प्रयास पूरी तरह से सार्थक सिद्ध होगा।

इस दौरान श्री अरोड़ा ने कहा कि शिक्षा समाज और देश की तरक्की की नींव है और यह नींव तभी मजबूत हो सकती है जब हमारी प्राइमरी शिक्षा का स्तर ऊंचा होगा और यह स्तर तभी ऊंचा हो सकता है, जब हमारी शिक्षा प्रणाली आधुनिक होगी। इसीलिए यह कदम उठाया जा रहा है, जिसमें सभी का खासकर अध्यापक वर्ग का सहयोग बहुत ही महत्वपूर्ण है।
श्री अरोड़ा ने बताया कि यह चिंता का विषय है कि पिछले चंद सालों में ही 55 हजार बच्चे सरकारी स्कूल छोड़ चुके हैं। प्रदेश की साक्षरता दर 76 प्रतिशत और इसमें अकेले होशियारपुर का योगदान 85 प्रतिशत है। मगर यह योगदान काफी नहीं है, जब तक प्रत्येक बच्चा स्कूल नहीं पहुंचता और गुणात्मक शिक्षा ग्रहण नहीं करता तब तक वे समझते हैं कि शिक्षा प्रणाली में कहीं न कहीं खामी जरुर है, जिसे दूर किया जाना समय की मांग है। जिले में 1252 प्राइमरी स्कूल हैं तथा इनमें 3 हजार अध्यापक बच्चों को अक्षर ज्ञान प्रदान कर रहे हैं।

शुरुआती कार्यक्रम के तहत होशियारपुर के 101 स्कूलों में स्मार्ट कक्षाएं शुरु की जाएंगी, इनमें हल्का होशियारपुर के 69 स्कूलों को शामिल किया गया है तथा शेष हल्कों से 5-5 स्कूलों को शामिल किया गया है। यह ट्रायल कामयाब होने के बाद अन्य स्कूलों में भी इसे लागू किया जाएगा ताकि हर बच्चा आधुनिक शिक्षा के साथ जुडक़र समाज व देश की सेवा के काबिल बन सके तथा अपना, माता-पिता और देश का नाम रोशन कर सके। एक सवाल के जवाब में उन्होंने बताया कि इस प्रकल्प से करीब 4 हजार बच्चे स्मार्ट कक्षा के माध्यम से ज्ञान प्राप्त करेंगे। उन्होंने बताया कि इस योजना पर करीब 25 लाख रुपये का अनुमानित खर्च आने की उम्मीद है।

इस मौके पर जिला शिक्षा अधिकारी (प्राइमरी) संजीव कुमार, उपशिक्षा अधिकारी धीरज वशिष्ट, पूर्व प्रिं. देशवीर शर्मा, प्रो. जे.एस. बडियाल, मनमोहन कपूर, नंबरदार कर्मचंद, स्टेट अवार्डी अध्यापक दीपक वशिष्ट, मनी सिद्धू के अलावा पत्रकार साथी मौजूद थे।

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