होशियारपुर (द स्टैलर न्यूज़)। द ब्लड एसोसिएशन होशियारपुर एवं द पंजाब क्लब के प्रयासों से सिविल अस्पताल में एसडीपी प्लेटलेट्स निकालने वाली मशीन कार्यरत हो गई है। अब मरीजों को प्लेटलेट्स के लिए परेशान नहीं होना पड़ेगा। इतना ही नहीं मरीजों को यह सुविधा मात्र 7 हजार रुपये में मिलेगी, जोकि प्राइवेट अस्पतालों में ली जा रही प्रोसेसिंग फीस से काफी कम है। इस संबंधी जानकारी देते हुए राकेश सहारन, सुमित गुप्ता व आयुश शर्मा ने बताया कि होशियारपुर में जिस प्रकार डेंगू ने अपने पैर पसार रखे हैं, उसके चलते मरीजों को प्लेटलेट्स के लिए डोनर होने के बावजूद काफी परेशान होना पड़ रहा था। क्योंकि, सिविल अस्पताल में पड़़ी उक्त मशीन कार्यरत नहीं थी। इसका तर्क स्टाफ की कमी बताया जा रहा था।
जबकि डेंगू के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए स्वास्थ्य विभाग को स्टाफ की कमी को पूरा करना चाहिए था, जिसके लिए विभाग के अधिकारियों ने शायद ठोस कदम उठाने जरुरी नहीं समझे। अतिरिक्त स्टाफ की नियुक्ति न होने के कारण वहां मौजूद स्टाफ को 4-4 कर्मियों का काम करना पड़ रहा था, जिसके कारण उन्हें भी मानसिक परेशानी का सामना करना पड़ रहा था। लेकिन यूथ डेवेल्पमैंट बोर्ड के पूर्व चेयरमैन संजीव तलवाड़ द्वारा प्रयास करने एवं संस्था पदाधिकारियों द्वारा जिलाधीश से भेंट करने उपरांत अस्पताल में उक्त मशीन को कार्यरत करने हेतु स्टाफ की नियुक्ति कर दी गई है। जोकि मरीजों एवं उनके परिजनों के लिए बहुत बड़ी राहत की बात है। क्योंकि, सरकारी होने के चलते यहां पर खर्च बहुत कम है, जबकि प्राइवेट सेक्टर में खर्च अधिक होने के कारण कई लोग उसे वहन नहीं कर पा रहे थे।
हालांकि इस डेंगू के फैलाव को रोकने एवं मरीजों के लिए प्राइवेट ब्लड बैंक एवं कुछेक अस्पतालों की भूमिका सराहनीय रही है। क्योंकि, वहां पर 24 घंटे स्टाफ द्वारा सेवाएं प्रदान की जा रही हैं। राकेश, सुमित एवं आयुश ने जिलाधीश का धन्यवाद किया और कहा कि भविष्य में भी प्रशासन द्वारा जनता की सहूलत हेतु कड़े कदम उठाए जाते रहेंगे।