वार्तावण हितैषी वनस्पती थैलों का प्रयोग करना वर्तमान समय की आवश्यकता : जिलाधीश

होशियारपुर (द स्टैलर न्यूज़), रिपोर्ट: गुरजीत सोनू। जिलाधीश विपुल उज्जवल ने कहा कि वातावरण हितैषी वनस्पती थैलों का प्रयोग करना वर्तमान समय की आवश्यकता है। कई ऐसे प्लास्टिक है जो 5 हजार वर्ष तक भी खत्म नहीं होते, जब कि नए वनस्पती थैले इको फ्रैंडली है तथा 180 दिनों के भीतर ही जमीन में गल कर अपने आप खत्म हो जाते है। वे आज पंजाब प्रदूषण कंट्रोल बोर्ड की ओर से आयोजित किए गए विशेष समागम को संबोधित कर रहे थे। इस दौरान उन्होंने फसलों की नाड़ व अवशेष को आग न लगाने तथा वार्तावण को प्रदूषित होने से बचाने वाली 20 पंचायतों तथा 100 से अधिक किसानों को सम्मानित करते हुए प्रशंसा पत्र भी सौंपे ।

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आयोजित समागम को संबोधित करते हुए जिलाधीश विपुल उज्जवल ने कहा कि नाड़ को आग लगाने तथा प्लास्टिक के लिफाफों का अधिक प्रयोग करने के कारण वातावरण लगातार प्रदूषित होता जा रहा है। उन्होंने कहा कि कई ऐसे प्लास्टिक है जो 5 हजार वर्ष तक भी नहीं गलते तथा जमीन के अंदर दबने के बावजूद कई बीमारियों को जन्म देते है। उन्होंने कहा कि वातावरण को प्रदूषित होने से बचाने के लिए हमे मिल कर काम करने की जरुरत है। इस के लिए सरकार की ओर से भी लोगों को वनस्पती जैसे इकोफ्रैंडली लिफाफों का प्रयोग करने के लिए प्रेरित किया जा रहा है। यह इकोफ्रैंडली लिफाफे पुरी तरह से सुरक्षित है जो कि आलू, मक्की तथा गन्ने के बचे हुए छिलकों से तैयार होता है, जिस का मनुष्य की सेहत पर भी कोई असर नहीं पड़ता।

-नाड़ को आग न लगाने वाली 20 पंचायतों तथा 100 से अधिक किसानों को प्रशंसा पत्र देकर किया सम्मानित

उन्होंने कहा कि चाहे अभी यह लिफाफे थोड़े महंगे है, मगर जब लोग दुकानदारों व रेहड़ी वालों से प्लास्टिक के लिफाफों में समान खरीदना बंद कर देगे, तो उन्हें वनस्पती लिफाफे बेचने पड़ेगे। इस लिए धीरे धीरे इन की डिमांड बढऩे लगेगी तथा इनकी प्रौडक्शन भी बढ़ेगी। उन्होंने कहा कि डिमांड पूरी करने के लिए जब प्रौडक्शन बढ़ेगी तो यह लिफाफे सस्ते मिलने शुरु हो जाएगे। उन्होंने कहा कि बदलाव समय की मांग है तथा आज के वैज्ञानिक युग में सब कुछ बदल गया है। अगर हम थोड़ा सा भी जागरुक हो जाए तो वार्तावण को प्रदूषित होने से बचाया जा सकता है।

डिप्टी कमिश्नर ने कहा कि पुराने समय में लोग बाजार से सामान खरीदने के लिए कपड़े से बना थैला ले कर जाते है। मगर आज कुछ पैसे बचाने के चक्कर में हम अनजाने में वातावरण को प्रदूषित कर रहे है जो कदापि ठीक नहीं है। उन्होंने कहा कि विभाग की ओर से दुकानों में प्लास्टिक के लिफाफों को बंद करने के लिए विशेष मुहिम भी चलाई जाएगी। उन्होंने जिला निवासियों को अपील करते हुए कहा कि वे इको फ्रैंडली वनस्पती के लिफाफों का प्रयोग करे तथा दूसरों को भी ऐसा करने के लिए प्रेरित करे।
समागम दौरान किसान प्रि. तरसेम सिंह तथा डीलर्स एसोसिएशन एसोसिएशन के प्रधान मनीष कपूर सहित अन्य विष्य माहिरों ने किसानों को जागरुक किया। इसके बाद जिलाधीश ने नाड़ को आग न लगाने तथा वातावरण को प्रदूषित होने से बचाने के लिए 100 के करीब किसानों तथा 20 पंचायतों को प्रशंसा पत्र देकर सम्मानित भी किया। इस मौके पर वातावरण इंजी. अशोक गर्ग, सहायक वातावरण इंजी. सुखवंत सिंह, पूजा शर्मा, जूनियर वातावरण कर्मवीर सिंह, डी.एफ.ओ सुखबीर सिंह सहोता, एग्रीकल्चर विभाग से इंजीनियर अवतार सिंह, डा.नवदीप सिंह सहित समूह ईओ तथा भारी संख्या में किसान भी मौजूद थे।

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