20 अक्तूबर तक सब्सिडी पर खरीदी जा सकती है खेती मशीनरी: जिलाधीश

होशियारपुर(द स्टैलर न्यूज़)। धान की पराली व अवशेष को जलाने के रुझान को रोकने के लिए जिला प्रशासन की ओर से जहां जागरु कता फैलाई जा रही है वहीं किसानों को निजी व ग्रुपों में सब्सिडी पर कृषि मशीनरी/उपकरण मुहैया करवाए जा रहे हैं, ताकि पराली व अवशेषों का खेतों में ही प्रबंधन किया जा सके। इस संबंधी जानकारी देते हुए जिलाधीश ईशा कालिया ने कहा कि पंजाब सरकार की ओर से किसानों को आधुनिक खेती मशीनरी पर सब्सिडी की सुविधा मुहैया करवाई जा रही है, जिसके अंतर्गत जिले में अब तक 148 मशीनों पर 1 करोड़ 56 लाख 98 हजार 660 रु पए की सब्सिडी लाभार्थियों के बैंक खातों में ट्रांसफर कर दी गई है।

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-धान की पराली को आग लगाने के रुझान को रोकने के लिए जिला प्रशासन तत्पर

जिलाधीश ने कहा कि वर्ष 2019-2020 के दौरान जिले में 77 फार्म मशीनरी बैंक, कस्टमर हायरिंग सैंटर स्थापित किए जाने हैं, जिनमें 61 फार्म मशीनरी बैंक स्थापित किए जा चुके हैं। इन सैंटरों में 209 मशीने 80 प्रतिशत सब्सिडी पर मुहैया करवाई गई हैं। इसके अलावा व्यक्तिगत तौर पर मशीने 50 प्रतिशत सब्सिडी पर मुहैया करवाई गई हैं। उन्होंन कहा कि गांवों के हिसाब से 598 नोडल अधिकारी नियुक्त किए गए हैं, जो किसानों को आग लगाने से होने वाले नुक्सानों से सावधान करेंगे। इसके अलावा नोडल अधिकारियों की सहायता के लिए 20-20 गांवों के पीछे एक-एक कोआर्डिनेटिंग अधिकारी भी लगाया गया है, जिसके मुताबिक जिले में कुल 32 कोआर्डिनेटिंग अधिकारी नियुक्त किए गए हैं।

– पराली न जलाने का संकल्प लेने वाले गांवों व किसानों की प्रशंसा की

ईशा कालिया ने कहा कि नियुक्त किए गए अधिकारी किसानों को धान की पराली के प्रबंधन के बारे में जागरुक करें व किसानों को यह भी बताया जाए कि वे प्रबंधन के लिए आधुनिक खेती मशीनरी का प्रयोग कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि किसान धान की पराली के प्रबंधन के लिए कृषि फार्म मशीनरी बैंकों को किराए पर ले सकते हैं। इसके अलावा सुपर एस.एम.एस. कंबाइन पर लगाने के लिए भी किसानों को जागरु क किया जाए। उन्होंने कहा कि कृषि उपकरणों पर सब्सिडी की सुविधा देने के अलावा सुपर एस.एम.एस. पर सब्सिडी की सुविधा दी जा रही है।

– पराली का खेत में ही प्रबंधन करने वाली 148 खेती मशीनों पर करीब डेढ़ करोड़ रुपए से अधिक की दी सब्सिडी

– कहा, पराली/अवशेषों को जलाने वाले किसानों को किया जाएगा सम्मानित

जिलाधीश ईशा कालिया ने पराली न जलाने का संकल्प लेने वाले गांव टोडरपुर, पचं नंगला, दलेल सिंह वाला, थिंडा, बहबलपुर, रीला सहित दर्जनों अन्य गांव की प्रशंसा करते हुए कहा कि वातावरण को प्रदूषित होने से बचाने के लिए किसानों की ओर से उठाया गया यह कदम काबिले-तारीफ है। उन्होंने कहा कि पराली को जलाने वाले किसानों को जिला प्रशासन की ओर से सम्मानित किया जाएगा। उन्होंने अपील करते हुए कहा कि किसानों को अवशेषों को आग लगाने की बजाए इसके उचित निपटारे के लिए कृषि विभाग की नई तकनीकों को अपनाने की जरुरत है।

मुख्य कृषि अधिकारी डा. विनय कुमार ने बताया कि बाकी किसानों व ग्रुपों को जल्द ही सब्सिडी उनके खातों में जमा करवा दी जाएगी। उन्होंने कहा कि किसान कृषि उपकरणों के माध्यम से अवशेषों का खेतों में ही निपटारा करने के अलावा गांव बिंजो में लगे पावर प्लांट में भी पराली को बेच सकते हैं।

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