नई दिल्ली (द स्टैलर न्यूज़)। कोरोना के कारण बंद करतारपुर साहिब कॉरिडोर को 17 नवंबर से भारत सरकार ने फिर खोल का फैसला किया है।इससे पहले मंगलवार को पूर्व सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अपील की है कि सिख संगत की भावनाओं का सम्मान करते हुए 19 नवंबर से पहले करतारपुर कॉरिडोर खोल दिया जाए। पंजाब भाजपा नेताओं के एक दल ने भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात कर इस मांग को उठाया था। करतारपुर कॉरिडोर के जरिए पाकिस्तान के कस्बे करतारपुर को पंजाब के गुरुदासपुर जिले में स्थित डेरा बाबा नानक के साथ जोड़ा गया है।
भारत से लगी सीमा से करीब चार किलोमीटर दूर पाकिस्तान के पंजाब प्रांत में रावी नदी के किनारे स्थित श्री करतारपुर साहिब गुरुद्वारा सिखों का पवित्र तीर्थ स्थल है। यह लाहौर से 120 किमी दूर स्थित है। गुरु नानक जी के माता-पिता का देहांत भी यहीं पर हुआ था। यहां बाबा नानक ने अपनी जिंदगी का अंतिम समय बिताया था। यहां उन्होंने 17 वर्ष 5 माह 9 दिन अपने हाथों से खेती तक की। दूसरी ओर, भारत में रावी नदी के किनारे श्री गुरु नानक देव जी की याद में बनाया गया डेरा बाबा नानक स्थित है। यह भारत-पाकिस्तान बॉर्डर से लगभग एक किलोमीटर दूर है और गुरदासपुर जिले में आता है। माना जाता है कि बाबा नानक यहां 12 साल तक रहे। मक्का जाने पर उनको दिए गए कपड़े यहां संरक्षित हैं।