चंडीगढ़, (द स्टैलर न्यूज़)। 1984 के सिख नरसंहार के मामलों की लड़ाई लड़ रहे सिख समुदाय को उस समय बड़ी राहत मिली जब दिल्ली उच्च न्यायालय ने मामलों की जांच कर रही एसआईटी को कांग्रेस नेता, पूर्व मुख्यमंत्री व गांधी परिवार के करीबी कमलनाथ के खिलाफ केस की स्टेट्स रिपोर्ट 23 अप्रैल 2024 तक दाखिल करने को कहा। यह जानकारी भाजपा के राष्ट्रीय सचिव सरदार मनजिंदर सिंह सिरसा ने साझा की। यहां जारी एक बयान में सरदार सिरसा ने कहा कि वह निजी तौर पर 1984 के सिख नरसंहार मामलों की पैरवी कर रहे हैं इसलिए उन्होंने केंद्रीय गृह मंत्रालय को पत्र लिखकर कमल नाथ व अन्य आरोपियों के खिलाफ बंद मामलों को पुनः खोलने की अपील की थी। इसके बाद उन्होंने अदालतों में भी केसों की पैरवी की ।
उन्होंने कहा कि वह न्यायपालिका के आभारी हैं क्योंकि दिल्ली उच्च न्यायालय ने आज एसआईटी को 23 अप्रैल, 2024 तक कमल नाथ के खिलाफ मामले में स्टेट्स रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया है। कमल नाथ पर आरोप है कि उन्होंने 1984 के नरसंहार के दौरान गुरुद्वारा रकाबगंज साहिब में एक ही परिवार के दो सदस्यों की हत्या करवाई थी ।
सरदार सिरसा ने कहा कि उनके द्वारा दायर याचिका पर जस्टिस स्वर्णकांता शर्मा की अदालत ने यह स्टेटस रिपोर्ट 23 अप्रैल 2024 तक दाखिल करने का निर्देश दिया है, कमल नाथ एक हत्यारे हैं जिन्हें अब तक गांधी परिवार और कांग्रेस पार्टी ने बचाया है लेकिन अब उनके दिन पूरे हो गए हैं, उन्हें सिख समुदाय के खिलाफ किए गए अपराधों की सजा भुगतनी होगी। उन्होंने आशा व्यक्त करते हुए कहा कि निश्चित तौर पर 1984 के सिख नरसंहार के सभी आरोपी कानून के अनुसार सलाखों के पीछे होंगे और वह इन मामलों को उनके निष्कर्ष तक ले जाने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध हैं।