सरकारी कालेजों के यू.जी. और पी.जी. कोर्सों के लिए कॉमन यूनीफाईड आनलाइन एडमिशन पोर्टल: तृप्त बाजवा

चंडीगढ़(द स्टैलर न्यूज़)। राज्य के सरकारी कालेजों में दाखि़ला प्रक्रिया को मुश्किल रहित, तेज और आसान करने के मद्देनज़र पंजाब सरकार द्वारा हर प्रकार के दाखि़लों के लिए एक इंटीग्रेटड कॉमन यूनीफाईड आनलाइन एडमिशन पोर्टल तैयार किया गया है जिसको पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह द्वारा 19 अगस्त, 2021 को शुरू किया गया। इस सम्बन्धी और ज्यादा जानकारी देते हुये उच्च शिक्षा मंत्री तृप्त रजिन्दर सिंह बाजवा ने एक प्रैस बयान में बताया कि अब विद्यार्थी घर बैठे ही विभिन्न कालेजों में दाखि़ले के लिये आवेदन कर सकेंगे और साथ ही उनको अपने पसन्दीदा कालेजों में निजी तौर पर जाने और प्रौस्पैक्टस खरीदने की ज़रूरत नहीं होगी। अब विद्यार्थी अपने मोबाइल पर आनलाइन फार्म भर कर दाखि़ले के लिये आवेदन कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि पहले कालेजों और यूनिवर्सिटी में दाखि़ला प्रक्रिया स्पष्ट नहीं थी। दाखि़ला प्रक्रिया बहुत जटिल थी और विद्यार्थियों को अलग-अलग पोर्टलों पर आवेदन करने में कई दिक्कतें पेश आती थीं।

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उन्होंने बताया कि हर तरह के दाखि़लों के लिए इंटीग्रेटड कॉमन यूनीफाईड आनलाइन एडमिशन पोर्टल को शुरू करना समय की ज़रूरत है। इसको ध्यान में रखते हुये राज्य के सभी सरकारी कालेजों में एक यूनीफाईड स्टेट एडमिशन पोर्टल शुरू किया गया है। इस कॉमन दाखि़ला पोर्टल की प्रमुख विशेषताओं में राज्य के सभी सरकारी कालेजों वाले सभी यू.जी. और पी.जी. कोर्सों के लिए एक ही दाखि़ला प्लेटफार्म मुहैया करवाना, 100 फ़ीसदी संपर्क रहित दाखि़ला (आवेदकों को दाखि़ले के लिये किसी भी कालेज में निजी तौर पर जाना नहीं पड़ेगा), कई कालेजों के लिए सिर्फ़ एक ओवदन फार्म (भाव आवेदकों को आवेदन फार्म भरने के लिए अलग तौर पर एक कालेज से दूसरे कालेज में घूमना नहीं पड़ेगा), आवेदन फार्म की फिक्सड फीस सिर्फ़ 200 रुपए (आवेदकों को आवेदन करते समय हर कालेज में अलग तौर पर प्रौस्पैक्टस फीस नहीं देनी पड़ेगी), आवेदकों की संपर्क रहित तस्दीक (स्टेट पोर्टल डिजीलाकर के ज़रिये सभी राज्य बोर्डों और सीबीएसई से जुड़ा हुआ है), इस लिए मैनुअल तस्दीक की ज़रूरत नहीं, शामिल हैं। इसी तरह जाति सर्टिफिकेट (ऐस.सी. /बी.सी.) और आवेदक की रिहायश सम्बन्धी सर्टिफिकेट ढांचागत पोर्टल के ज़रिये स्वै-तस्दीक हो जाते हैं और राज्य यूनिवर्सिटी के नियमों के अनुसार फ़ीस निर्धारित की जाती है।

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