पक्षियों को बचाएंगे तो ही बचेगा पर्यावरण

होशियारपुर (द स्टैलर न्यूज़): पर्यावरण को संतुलित रखने में पेड़-पौधों के साथ ही पशु-पक्षियों की भूमिका भी अहम है। लेकिन मनुष्य के अत्यधिक हस्तक्षेप के चलते इन सबकी संख्या कम होती जा रही है। यदि हम जल्द नहीं चेते तो स्थिति भयावह हो सकती है। कीटनाशकों के बढ़ते प्रयोग से जहां पक्षियों की संख्या कम होती जा रही हैं, वहीं कुछ प्रजातियां तो विलुप्ति के कगार पर पहुंच चुकी हैं। गर्मियों का मौसम विशेषकर पक्षियों के लिए बहुत कष्टप्रद होता है। उन्हें बचाने के लिए सभी को थोड़ा-थोड़ा प्रयास करना होगा। कम से कम एक सकोरा पानी का भरकर छायादार स्थान में रख दें तो बहुत से पंछियों की जान हम बचा सकते हैं। इन दिनों होशियारपुर में जमकर गर्मी पड़ रही है। शनिवार को 42 डिग्री पर तापमान था। ऐसे में पक्षियों की पानी की कमी से मौत न हो, उसके लिए सूर्य एनक्लेव होशियारपुर के युवाओं  ने पहल की है। ऐसे ही प्रयास में लगे युवा बलजीत सिंह, कमांडेंट दर्शन लाल, नवीन शर्मा, पंकज बंसल, राजीव प्रेशर ने बताया कि भीषण गर्मी में पक्षियों को भी पानी की बेहद जरूरत होती है।

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हमारे साथियों ने मिलकर इस पर विचार किया गया और सड़क किनारे लगे पेड़ों पर सकोरे (पक्षियों के लिए पानी से भरा कटोरा) लगाए हैं। प्लास्टिक और मिट्टी के बाउल नुमा इन सकोरों में रस्सी बांधकर पेड़ों पर लटकाया जा रहा है। इनमें पक्षियों के लिए पानी और दाना डाला जाता है। यहां पक्षी झुंड बनाकर आते हैं और सकोर के ऊपर बैठकर दाना पानी लेते हैं। कमांडेंट दर्शन लाल ने बताया कि यूं तो लोग घरों में सकोरे रखकर पक्षियों के पानी की व्यवस्था करते हैं, लेकिन यह बहुत कम संख्या में होती है। यह मुहिम जून तक चलाएंगे। दोपहर  जहां लोग गर्मी से बचने के लिए कूलर-एसी के पास पहुंच जाते हैं। वहीं युवाओं की यह टोली बोतलों, कंटेनर  में पानी लेकर सड़कों पर निकल जाती है। बोतलों के पानी से पेड़ों पर बांधे गए सकोरे भरे जाते हैं। सकोरों में दाना भी डाला जाता है।  दर्शन लाल ने बताया कि सकोरों में पानी भरने के लिए हमारी टोली के सदस्यों के अलावा लोग भी जिम्मेदारी ले रहे हैं। बाजार में लगे सकोरों में निरंतर पानी भरने दाना रखने के लिए आसपास के दुकानदार भी आगे आए हैं।

इस अवसर पर समाजसेवी दीपक कतना ने कहा कि गर्मी आते ही पक्षियों के लिए पानी की व्यवस्थाओं के लिए अपने छतों पर घरों पर दुकानों में मिट्टी के बर्तन में पानी की व्यवस्था कर रहे हैं और लोगों के द्वारा जागरूक किया जा रहा है अपने अपने घरों में आंगन में छत में पक्षियों के लिए पानी अवश्य रखें ऐसा लोगों को प्रेरित किया जा रहा है। ग्रीन वैली डिवेलपमेंट सोसाइटी के चेयरमैन सतीश गोयल ने कहा कि मनुष्य अपने स्वार्थ के लिए प्रकृति के साथ लगातार छेड़छाड़ करता जा रहा है। इसके दुष्परिणाम भी साथ-साथ दिखाई देने लगे हैं, हालांकि पर्यावरणविदों का कहना है कि ये दुष्परिणाम लंबी अवधि के होते हैं और अभी जो नजर आ रहे हैं, वे सौंवे हिस्से के बराबर हैं। हम धीरे-धीरे करके ईको सिस्टम को खराब करते जा रहे हैं। ईको सिस्टम में हर जीव जंतु की अहम भूमिका होती है। इसके खराब होने का असर हर क्षेत्र में दिखाई पड़ रहा है।

इस अवसर पर लेक्चरर संदीप कुमार सूद, कपिल गुप्ता अरविंद धीमान, रजनीश गुलियानी, सतीश गोयल, प्रकाश बंसल, सुरेश बंसल, रिटायर्ड सीनियर इंजीनियर कुलवंत सिंह संधू, नीरज धीमान, अमनदीप सिंह धामी, मनोज कुमार, धर्मेंदर कुमार, मनोज कुमार, अवतार सिंह,, शमशेर सिंह भारद्वाज, संजीव कुमार, मुकेश कुमार, मास्टर प्रवीण कुमार इत्यादि उपस्थित थे।

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