चण्डीगढ़: (द स्टैलर न्यूज़)। पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने कोविड महामारी की तीसरी लहर के लिए राज्य की तैयारियों को बढ़ाते हुए ज़िला बठिंडा के तलवंडी साबो में 100 बिस्तरों की क्षमता वाले कोविड अस्पताल का वर्चुअल तौर पर उद्घाटन किया।महामारी की भविष्यीय लहरों से निपटने के लिए अस्पताल के विकास में राज्य सरकार को सहयोग करने के लिए एच.पी.सी.एल.-मित्तल एनर्जी लिमिटेड (एच.एम.ई.एल.) का धन्यवाद करते हुए मुख्यमंत्री ने इसको जंग के समय के दौरान हर चुनौती से उभरने के लिए पंजाबियों के हौसले की एक और मिसाल करार दिया। उन्होंने कहा कि आज़ादी से लेकर अब तक हुई किसी भी जंग में इतनी मानवीय जानें नहीं गईं जितनी इस महामारी में गई हैं। उन्होंने कहा, “हम एकजुट होकर लड़े परन्तु जंग अभी भी जारी है और हमें तीसरी लहर के लिए तैयार रहना होगा।“मुख्यमंत्री ने याद करते हुए कहा कि तलवंडी साबो से अपना पहला चुनाव लड़ते समय यह इलाका वीरान होता था और बहुत कम सुविधाएं होती थीं और उस समय से लेकर बहुत प्रगति हुई है। उन्होंने कहा कि वास्तविकता यह है कि बहुत कम समय में इस अस्पताल का बनना एक बेमिसाल उपलब्धि है।
उन्होंने इस अस्पताल के संचालन और प्रबंधन के लिए स्वास्थ्य विभाग को सौंपने से पहले इस विलक्षण प्राप्ति के लिए केंद्रीय भवन अनुसंधान संस्थान (सी.बी.आर.आई.) के डायरैक्टर एन. गोपालाकृष्णन के नेतृत्व वाली तकनीकी टीम का धन्यवाद किया।केंद्रीय भवन अनुसंधान संस्थान, रुड़की के दिशा-निर्देशों तहत एच.एम.ई.एल. रिफाइनरी, बठिंडा की मदद से 651.21 लाख रुपए ख़र्च कर कोविड मरीज़ों के लिए 100 बिस्तरों की क्षमता वाला अस्पताल बनाया है।पंजाब सरकार ने इस अस्पताल की स्थापना के लिए 4,51,21,000 रुपए राज्य आपदा प्रबंधन कोष में से अदा किये जबकि एच.एम.ई.एल. रिफाइनरी, फुल्लोखारी ने सी.एस.आर. फंड में से 2 करोड़ रुपए का योगदान दिया है।एच.एम.ई.एल. रिफाइनरी ने अस्पताल की स्थापना के लिए 2.6 एकड़ जगह दी थी। यह जगह ज़रूरत मुताबिक भविष्य में 200 बिस्तरों तक बढ़ाने के लिए उचित है।स्वास्थ्य मंत्री बलबीर सिंह सिद्धू ने रिकार्ड समय में एसी संस्था स्थापित किये जाने की सराहना की। वित्त मंत्री मनप्रीत सिंह बादल ने कहा कि राष्ट्रीय आपातकालीन स्थिति के मद्देनज़र दृढ़ इरादे के साथ कठिनाईयों का सामना किया गया है और इस मुश्किल हालात से निपटने के लिए नौजवान अफ़सर बधाई के पात्र हैं।
मुख्य सचिव विनी महाजन ने कहा कि मोहाली में भी ऐसा संस्थान जल्द ही स्थापित किया जायेगा।एच.एम.ई.एल. के मुख्य कार्यकारी अधिकारी प्रभ दास ने इस अस्थायी संस्थान, जोकि रामा मंडी, तलवंडी साबो और बठिंडा शहर के पास के कस्बों के साथ जुड़े हुए हैं, के विकास में योगदान देने वाली एजेंसियों का धन्यवाद किया और कहा कि इससे बठिंडा और तलवंडी साबो ब्लॉकों की ग्रामीण आबादी को फ़ायदा मिलेगा।इस अस्पताल पर काम सभी ज़रूरी मंज़ूरियां लेने के बाद मई माह के आखि़र में शुरू हो गया था और डेढ़ महीने के समय में कई विभागों और एजेंसियों द्वारा मिलकर प्रयास किए जाने के कारण पूरा हो गया था। सी.बी.आर.आई., रुड़की ने जहाँ इसके ढांचे के डिज़ाइन तैयार करने और फर्नीचर की खरीद करने का कार्य किया, वहीं बाबा फ़रीद यूनिवर्सिटी ऑफ हैल्थ साईंसिज़, फरीदकोट के उप कुलपति ने मैडीकल साजो-सामान खरीदने की ज़िम्मेदारी निभाई। एच.एम.ई.एल. रिफाइनरी द्वारा बाहरी सेवाओं जैसे कि पानी की पाईपलाइन, पीने वाले पानी की पाईपलाइन, सेप्टिक टैंक, सोक पिट, बिजली सप्लाई की तार, बिजली सम्बन्धी अन्य साजो-सामान और ऑक्सीजन पाईपलाइन को अस्पताल में मुहैया करवाए जाने के 200 लाख रुपए के कार्य पूरे किये गए।
इस एयर कंडीशन्ड अस्पताल में 25 बिस्तरे एल-3 स्तर और 75 बिस्तरे एल-2 स्तर के हैं। यह अस्पताल कोविड-19 के सभी प्रकार के मरीज़ों के इलाज के लिए उपयुक्त है। इसके अलावा इस अस्पताल में एक्स -रे मशीनें, ई.सी.जी., पाथलैब की सुविधा, 24ग7 ऑक्सीजन, बिजली, पानी और सीवेज की सुविधा एच.एम.ई.एल. द्वारा प्रदान की जा रही है।इस अस्पताल का इस्तेमाल स्थानीय लोगों के लिए टीकाकरण कैंप और अन्य ओ.पी.डी. सेवाओं हेतु भी किया जा सकता है। कोविड के मामले बढ़ने की सूरत में ज़रूरत अनुसार एस.डी.आर.एफ. के फंड में से खर्च करके और अधिक व्यक्तियों की तैनाती की जायेगी।