खटकड़ कलां (द स्टैलर न्यूज़): पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष अमरिंदर सिंह राजा वड़िंग और नेता विपक्ष प्रताप सिंह बाजवा के नेतृत्व में सैकड़ों कांग्रेसी वर्करों की ओर से शहीद भगत सिंह के मेमोरियल के समक्ष धरना प्रदर्शन करते हुए, भ्रष्टाचार के आरोपों से घिरे मंत्री फौजा सिंह सरारी को बर्खास्त करने और गिरफ्तार किए जाने की मांग की गई। धरने को संबोधित करते हुए, वड़िंग ने कहा कि यदि सरकार ने सरारी के खिलाफ कोई कार्रवाई न की, तो पार्टी राज्य भर में अपने आंदोलन को चलाने के लिए मजबूर होगी। आज का धरना सरकार को अल्टीमेटम देने के लिए मात्र एक नमूना है, जो दोहरे मापदंड को नहीं रख सकती। उन्होंने कहा कि एक तरफ बिना किसी सबूत के कांग्रेसी नेताओं को नामजद करके जेल भेजा जा रहा है और दूसरी ओर भ्रष्टाचार के खुले मामले में मंत्री आजाद घूम रहे हैं।
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष ने ऐलान किया कि जमीनी स्तर पर कांग्रेसी कार्यकर्ताओं को धमकाने और प्रताड़ित किए जाने के विरुद्ध कांग्रेस पार्टी 1 नवंबर को मोहाली में धरना प्रदर्शन करेगी।उन्होंने कांग्रेसी कार्यकर्ताओं को आम आदमी पार्टी सरकार के थक्के शाही के विरुद्ध मजबूत एकजुट और डटे रहने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि यहां कुछ भी हमेशा के लिए नहीं रहता और कुछ वक्त की बात है और भरोसा व्यक्त किया कि कांगेस पार्टी मजबूती के साथ वापसी करेगी। इस अवसर पर संबोधित करते हुए, नेता विपक्ष प्रताप सिंह बाजवा ने सरारी को लेकर भगवंत मान के दोहरे मापदंडों की आलोचना की और आरोप लगाया कि वह जानबूझकर मंत्री को बचा रहे हैं। उन्होंने कहा कि सरारी के घटनाक्रम ने मान की पोल खोल दी है और चेतावनी देते हुए कहा कि जब तक मंत्री को हटाया नहीं जाता, कांग्रेस पार्टी आराम से नहीं बैठेगी।
उन्होंने अरविंद केजरीवाल द्वारा अपने दागी मंत्रियों सत्येंद्र जैन और मनीष सिसोदिया की शहीद-ए-आजम भगत सिंह के साथ बराबरी करने पर आलोचना की। उन्होंने कहा कि शहीद भगत सिंह ने युवा आयु में देश की आजादी के लिए अपने प्राणों का बलिदान दे दिया था, जबकि जिन दागी मंत्रियों कि केजरीवाल शहीद के साथ तुलना कर रहे हैं, वे पूरी तरह से भ्रष्टाचार में डूबे हुए हैं। बाजवा ने कहा कि जैन और सत्येंद्र गंभीर आरोपों का सामना कर रहे हैं और इंफोर्समेंट डायरेक्टरेट व सेंट्रल ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टिगेशन द्वारा करोड़ों रुपए के अघोषित खातों और संपत्तियों की जांच की जा रही है। केजरीवाल द्वारा ऐसे लोगों की शहीद भगत सिंह के साथ तुलना और बराबरी करना शर्मनाक है। उन्होंने आरोप लगाया कि इन लोगों ने आप के खजाने को भरने के लिए भ्रष्टाचार से भारी संपत्ति अर्जित की है और ऐसे लोगों की शहीद भगत सिंह से बराबरी करना अपमानजनक है।
उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी ने ना सिर्फ महान शहीद को उनके पैतृक गांव में श्रद्धांजलि भेंट करने का फैसला किया है, बल्कि वे आप नेताओं को यह भी याद दिलाना और चेतावनी देना चाहते हैं कि वे शहीदों की इस तरह से बेइज्जती नहीं होने देंगे। भगत सिंह ने किसी संप्रदाय या राज्य के लिए नहीं, बल्कि पूरे देश के लिए अपने प्राणों का बलिदान दिया था। उन्होंने आप नेताओं को शहीदों का सम्मान करने की सलाह दी। इस दौरान अन्य के अलावा वरिष्ठ पार्टी नेताओं में ओपी सोनी, सुखजिंदर सिंह रंधावा, तृप्त राजिंदर बाजवा, डॉ अमर सिंह, जसबीर डिंपा, बरिंदर ढिल्लों, राणा गुरजीत सिंह, अरुणा चौधरी, सुखपाल खैहरा, हरदेव सिंह लाडी, परगट सिंह, नरेश पुरी, रमनजीत सिंह सिक्की, कुलजीत नागरा, हरमिंदर सिंह गिल, पवन आदिया, तरलोचन सूंद, दर्शन लाल मंगूपुर, दविंदर सिंह घुबाया, इंद्रबीर सिंह बुलरिया, गुरकीरत कोटली, गुरप्रीत जीपी, सुखविंदर कोटली, सुखपाल भुल्लर, राजा गिल, जगपाल अबुलखुराना भी शामिल रहे।