ब्रेस्ट कैंसर अब नहीं रहेगा लाइलाज, भारत की ‘छवि’ का अहम योगदान

वाशिंगटन (द स्टैलर न्यूज़)। ब्रेस्ट कैंसर अब लाइलाज नहीं होगा। अमेरिका में ब्रेस्ट कैंसर के लिए बनाई वैक्सीन का जानवरों पर सफल ट्रायल किया जा चुका है। अब महिलाओं पर क्लिनिकल ट्रायल शुरू किया गया है। यह भारत के लिए भी बड़ी बात है क्योंकि कि अजमेर की बेटी डॉ. छवि जैन भी वैक्सीन तैयार करने वाली टीम का हिस्सा बनी। वर्तमान में छवि अमेरिकन कैंसर सोसाइटी की फीमेल रिसर्चर एम्बेसेडर भी हैं।

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छवि के पिता डॉ. संजीव जैन अजमेर के जवाहर लाल नेहरू हॉस्पिटल में शिशु रोग विशेषज्ञ हैं। उनकी मां डॉ. नीना जैन भी इसी हॉस्पिटल में एनिस्थिया विभाग में सीनियर प्रोफेसर और पूर्व एचओडी हैं। छवि की शुरुआती पढ़ाई सोफिया एंड मयूर स्कूल में हुई। इसके बाद पुणे के इंस्टीट्यूट ऑफ बायो इन्फोर्मेटिक्स एंड बायो टेक्नोलॉजी से एम.टेक और स्विटजरलैंड की स्विस फेडरल इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नॉलोजी यूनिवर्सिटी से पीएचडी की डिग्री ली। फिलहाल वह अमेरिका के लर्नर इंस्टीट्यूट क्लीवलैंड क्लिनिक में कार्यरत हैं। 2016 में छवि की शादी जबलपुर में हुई। छवि के पति डॉ. प्रांतेश जैन भी अमेरिका में असिसटेंट प्रोफेसर (ऑन्कॉलोजी) हैं। उनके बेटे का नाम अबीर है।
बता दें कि क्लिनिकल ट्रायल के पहले चरण में ट्रिपल नेगेटिव ब्रेस्ट कैंसर से प्रभावित 18-24 वर्ष की महिलाओं में दो सप्ताह के अंतर से तीन डोज दी जाएगी। यह वैक्सीन अल्फा लेक्टलब्यूमिन नामक ब्रेस्ट कैंसर प्रोटीन पर प्रहार करती है। ट्रिपल नेगेटिव ब्रेस्ट कैंसर की आशंका भारतीय महिलाओं में ज्यादा है। इसकी मुख्य वजह जलवायु, जीवन शैली, मोटापा, कुपोषण और जेनेटिक परिवर्तन है। इसके लिए अभी तक कोई कारगर इलाज नहीं है।

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