आत्मा और परमात्मा का विशुद्ध मिलन ही है महारास: स्वामी केशव दत्त

होशियारपुर (द स्टैलर न्यूज़)। श्री नंद अन्नपूर्णा मंदिर चैरीटेबल सोसायटी एकता नगर में चल रहे श्री रुद्रचंडी महायज्ञ के नौंवें दिन नील कमल मोदगिल एवं नीना मोदगिल ने मुख्य यजमान के रुप में पहुंचकर आहुति डाली। इस मौके पर आचार्य राजिंदर प्रसाद ने बताया कि यज्ञ मानव जीवन को सफल बनाने की आधारशिला है। इसके कुछ भाग विशुद्ध आध्यात्मिक है। उन्होंने बताया कि अग्नि पवित्र है और जहां यज्ञ होता है वहां संपूर्ण वातावरण पवित्र और देवमय बन जाता है। उन्होंने कहा कि यज्ञ वेदी में स्वाहा कह कर देवताओं को भोजन परोसने से मनुष्य को दुख दरिद्रता और कष्टों से छुटकारा मिलता है।

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शाम की सभा में श्रीमदभागवत कथा के छठे दिन स्वामी केशव दत्त ने भगवान श्री कृष्ण के महारास प्रसंग से श्रद्धालुओं को भक्ति का संदेश दिया। उन्होंने कहा कि आत्मा और परमात्मा का विशुद्ध मिलन ही है महारास है। महारास में गोपियां भौतिक शरीर से अपने घर में मौजूद रहीं लेकिन मन एवं आत्म भाव से एवं काम वासना रहित होकर वह भगवान के साथ महारास में मौजूद रहीं। इस दौरान उन्होंने कंस वध और रुकमणि विवाह प्रसंग का भी वर्णन किया। इस दौरान श्री राधा माधन गुरुकुल संस्कृत शिक्षण संस्थान आगरा से आए हुए ब्राह्मण विद्वानों ने वैदिक मंत्रों से कृष्ण रुकमणि का पूजन करवाया और भजनों के माध्यम से वातावरण को कृष्णमयी बना दिया। इस मौके पर प्रधान रमेश अग्रवाल, महासचिव तरसेम मोदगिल, प्रमुख समाज सेवी संजीव अरोड़ा, सुभाष अग्रवाल, विकास सिंगला, निखिल अग्रवाल, अशोक कुामर, राजीव शर्मा, गोपी शर्मा, अश्विनी शर्मा, दविंदर वालिया गुरुजी, रमेश गंभीर, नील शर्मा, रमन सैनी, कृष्ण गोपाल शर्मा, मनोज दत्ता, बृज बिहारी, विनोद शर्मा, रमेश शर्मा, शाम मोदगिल, भैवव शर्मा, साहिल शर्मा, विशाल वालिया, एवं रिश्व अग्रवाल सहित बड़ी संख्या में श्रद्धालु मौजूद थे।

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