होशियारपुर (द स्टैलर न्यूज़)। पूर्व उपाध्यक्ष नगर कौंसिल होशियारपुर व पूर्व पार्षद खरैती लाल कतना व पूर्व पार्षद तरलोक सिंह ने संयुक्त बयान में कहा कि नगर निगम को बने तीन वर्ष के करीब हो गया है और भाजपा-अकाली दल ने एक्ट की धारा 1976 के अधीन एक पुलिस फोर्स तकरीबन 6 से 7 अधिकारियों की टीम नगर निगम व हाऊस की प्रमीशन लेने से पहले यह फोर्स नगर निगम पर थोप दी। जिनका मासिक खर्च तीन से चार लाख रुपए नगर निगम पर बोझ डाल दिया।
इस फोर्स को रखे दो-तीन महीने हो गए है। नगर निगम मेयर बताए कि इनसे क्या कार्य लिया गया। 1911 व 1976 एक्ट बहुत पुराने है। यह फोर्स पहले तीन वर्ष क्यों नहीं रखे गए और अब पहले रखकर निगम हाऊस की प्रमीशन क्यों नहीं ली गई। इस पेमैंट से शहर के विकास में तकरीबन 50,0000 रुपए का वार्षिक बोझ डालकर विकास के कार्य को रोका गया है। नगर निगम को लोगों के कार्य की ओर ज्यादा ध्यान देना चाहिए।
पूर्व मंत्री तीक्षण सूद का अखबार में बयान प्रशंसनीय है, परंतु वह बताए उनकी ही नगर निगम के रोडकटिंग, सीवरेज-पानी के बिलों की बढ़ौतरी का प्रस्ताव उनके नगर निगम के मेयर ने किया है। शायद उनको याद होगा पिछले समय में जब पानी व सीवरेज के रेट बढ़े थे तो इस नगर कौंसिल ने उस प्रस्ताव को नकारा था और बाद में एडवोकेट राम प्रकाश धीर यह प्रस्ताव लेकर हाईकोर्ट गए थे, जिनमें लोगों को राहत मिली थी।
नगर निगम ने अपने आप ही एजेंडे में कई आईटमें डाली पर अपने आप ही मेयर के प्रस्ताव को अपने मैंबरों द्वारा नकारा करवा लिया गया।