इश्क में सरहद लांघ आईं थी पाकिस्तान की बहनें, भारतीय फौज ने तोहफों संग भेजा वापस

जम्मू/राजौरी (द स्टैलर न्यूज़), रिपोर्ट: अनिल भारद्वाज। ऐसा आपने अभी तक फिल्मों में ही देखा होगा कि पाकिस्तान की अभिनेत्री या अभिनेता अपने प्यार को पाने के लिए सरहद पार कर जाते हैं। जम्मू-कश्मीर के जिला पुंछ से बीते रविवार को सरहद पार कर भारतीय क्षेत्र में पीओके से आईं दो बहनों की कहानी भी कुछ इसी तरह मेल खाती है। हिरासत के समय बड़ी बड़ी सतर्कता के साथ नियंत्रण रेखा पर तैनात हमारे भारतीय सैनिकों ने उन पर नजरें बनाएं रखीं और इन लड़कियों को कोई नुकसान न हो, इसके लिये पूरी सावधानी बरती गई। और पूछताछ में इश्क का राज सामने आया।
भारतीय फौज ने इन दोनों बहनों को सम्मान के साथ तोहफे देकर पाकिस्तान को लौटा दिया। इन्हें पुंछ के चकन-द-बाग से पाकिस्तानी फौज को सौंपा गया। गुलाम कश्मीर में अब्बासपुर की रहने वाली यह दोनों बहने बीते रविवार को जिला पुुछ से लगती नियंत्रण रेखा को पार कर भारतीय क्षेत्र में घुस आईं थी। भारतीय सरहद में प्रवेश करते ही फौज ने उन्हें पकड़ लिया। बाद में इन्हें पुंछ पुलिस को सौंप दिया गया। पुलिस ने जब इन बहनों से पूछताछ की तो बड़ी बहन लाइबा जुबैर ने खुलासा किया कि वह भारत में गलती से प्रवेश कर गई हैं। जब उससे सरहदी क्षेत्र में आने की वजह पूछी गई तो लाइबा ने इश्क का राज खोला। उसने बताया कि वह किसी पाकिस्तान जवान से प्यार करती है और वह इन दिनों इसी इलाके में सरहद पर ड्यूटी पर तैनात है। बातों-बातों में उससे मिलने का करार हुआ और उसी बेकरारी में वह अपनी छोटी बहन सना जुबैर को साथ लेकर पाकिस्तानी सरहद के उस इलाके तक पहुंच आई, जहां उसका महबूब ड्यूटी पर तैनात रहता है।
उसे ढूंढते-ढूंढते अंधेरा हो गया और इस कारण उसे सरहद का पता नहीं चला और वह दोनों भारतीय क्षेत्र में प्रवेश कर बैठी। लाइबा ने बताया कि वे पिछले 10 सालों से गुलाम कमीर के अब्बासपुर में रह रही हैं। वे गरीब परिवार से संबंध रखती हैं। हालांकि उनके दादा अब्दुल हक मूल रूप से श्रीनगर के रहने वाले थे। उनका वर्ष 1990 में देहांत हो गया। पिता मोहम्मद जुबैर पेशे से कसाई थे। उनकी भी इस साल जुलाई में हृदयघात से मौत हो गई। उनके पिता ने दो शादियां की थी और दोनों पत्नियों से छह-छह बच्चे थे। लाइबा ने बहन संग घर से भाग जाने की वजह उसकी मां और भाई द्वारा उसकी जबरन शादी बताया। उसकी मां और बड़ा भाई हमजा जबरदस्ती स्थानीय लडक़े बाबर से उसकी शादी करना चाहते थे। बाबर ने हाल ही में पाकिस्तान की मुजाहिद फोर्स में भर्ती के लिए ट्रेनिंग हासिल की है। बाबर के परिजनों ने उसकी मां व भाई को यह लालच लिया था कि इस शादी के बाद वह हमजा को भी मुजाहिद फोर्स में भर्ती करवा देंगे। लाइबा तारिक से प्यार करती हैं और उसी से शादी करना चाहती थी। तारिक पेशावर का रहने वाला है और इस समय पाकिस्तान की अग्रिम चौकी कहुटा में तैनात है। वह इन दिनों छुट्टी पर है और उसी ने लाइबा से मिलने की इच्छा जाहिर की थी। सफर शुरू करने से पहले लाइबा ने तारिक का स्थानी होटल में इंतजार किया परंतु जब वह नहीं पहुंचा तो वह उसे ढूंढने के लिए निकल पड़ी।

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लाइबा ने बताया कि वह पहले भी भारत आ चुकी हैं। वर्ष 2018 में वह अपने माता-पिता के साथ सडक़ के माध्यम से वैध वीजे पर भारत आ चुकी हैं। उन्होंने बताया कि उन्होंने अपना घर 5 दिसंबर को शाम साढ़े छह बजे के करीब छोड़ा था। उसके साथ उनकी छह सहेलियां भी थी। उनके परिजन भी उनकी जबरन शादी करवाना चाहते थे। हम सभी तत्तापानी इलाके में जा रहे थे, जहां उनकी दोस्त सादिक पहले ही किराए के कमरे में रह रही थी। उसने तय किया था कि तारिक से मिलने के बाद वह अपनी सहेलियों के साथ तत्तापानी के लिए निकल जाएंगी। पूरी रात चलकर वे थक चुकी थी। 11.30 बजे वह जंगल में विश्राम करने के लिए रूकी परंतु उनकी सहेलियां आगे बढ़ गई। सुबह 4.00 बजे वह रेंजर नाले से गुजरते हुए कब सरहद के इस पार आ गई पता ही नहीं चला। लाइबा की आपबीती सुनने के बाद भारतीय सेना ने पाकिस्तानी सैनिकों से संपर्क किया और दोनों बहनों के बारे में जानकारी दी। अगली सुबह पाकिस्तानी सेना के अधिकारियों ने दोनों बहनों को नियंत्रण रेखा पर स्थित चकन-द-बाग से उन्हें वापस लिया। भारतीय फौजियों ने दोनों बहनों को पूरे सम्मान व तोहफों के साथ पाकिस्तानी सैनिकों को सौंपा।

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