मुख्यमंत्री ने6 जि़लों को माईक्रो कंटेनमैंट सख़्ती से लागूकरण और 100 प्रतिशत टेस्टिंग यकीनी बनाने के दिए आदेश

चंडीगढ़, 30 अप्रैल: पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने फिलहाल पूर्ण लॉकडाउन की संभावना से इनकार करते हुए शुक्रवार को सबसे अधिक कोविड प्रभावित 6 जि़लों के डिप्टी कमिश्नरों को माईक्रो कंटेनमैंट रणनीति और पुख्ता करने और 100 प्रतिशत टेस्टिंग यकीनी बनाने के निर्देश दिए। कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने कहा कि लॉकडाउन कोई हल नहीं है, क्योंकि इससे बड़े स्तर पर प्रवासी मज़दूर अपने राज्यों की तरफ भीड़ बढ़ा देंगे जहाँ की मैडीकल सुविधाएं बहुत कम हैं। उन्होंने सम्बन्धित जि़ला प्रशासन को निर्देश दिए कि सभी पाबंदियाँ सख्ती से लागू की जाएँ और ज़्यादा पॉजि़टिव मामलों वाले सभी क्षेत्रों के होटलों में बैठकर खाने पर रोक लगाई जाए और स्वास्थ्य विभाग द्वारा रैस्टोरैंटों के स्टाफ की कोविड जांच की जाए। उद्योग जगत को हलके लक्षणों वाले कामगारों के इलाज के लिए अपने स्वयं के कोविड इलाज केंद्र स्थापित करने और अस्थाई अस्पताल तैयार करने के लिए अपील करते हुए मुख्यमंत्री ने कोविड के खि़लाफ़ जंग मिलजुल कर लडऩे पर ज़ोर दिया। उन्होंने मुख्य सचिव को कोविड के खि़लाफ़ जंग में सेवामुक्त डॉक्टरों/नर्सों और एम.बी.बी.एस. के आखिरी वर्ष के विद्यार्थियों को एल-2/एल-3 संस्थानों में फिर ड्यूटी पर आने के लिए प्रोत्साहन देने के लिए कहा और यह सुझाव दिया कि जिमनेजिय़म/हॉलज़ में अस्थाई तौर पर स्वास्थ्य संभाल केंद्र स्थापित करने का सुझाव दिया। मुख्यमंत्री आज 6 सबसे अधिक प्रभावित जिलों लुधियाना, एस.ए.एस. नगर (मोहाली), जालंधर, बठिंडा, पटियाला और अमृतसर में कोविड स्थिति की समीक्षा सम्बन्धी एक वर्चुअल मीटिंग की अध्यक्षता कर रहे थे। सबसे अधिक प्रभावित 6 जिलों में मोहाली और 2 अन्य जिलों में कंटेनमैंट ज़ोनों की थोड़ी संख्या पर चिंता ज़ाहिर करते हुए मुख्यमंत्री ने कंटेनमैंट और टेस्टिंग प्रणाली को मज़बूत करने के लिए तुरंत कदम उठाने के हुक्म दिए। उन्होंने कहा कि माईक्रो कंटेनमैंट रणनीति सख्ती से लागू की जाए और इसके साथ ही उन समूह जि़ला अधिकारियों को कोविड का फैलाव रोकना अपनी सबसे बड़ी प्राथमिकता बनाने के लिए भी निर्देश दिए।

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मुख्यमंत्री ने इस चुनौतीपूर्ण समय में अधिकारियों द्वारा किए गए अच्छे काम की प्रशंसा करने के साथ इस बात पर चिंता भी ज़ाहिर की कि राज्य के 14 जि़लों में पॉजि़टिविटी दर 10 प्रतिशत से अधिक है, जबकि पाँच जि़लों में 60 प्रतिशत से अधिक बेड भरे हुए हैं। उन्होंने कहा कि मोहाली में 100 बिस्तरों वाले अस्थाई अस्पताल का ढांचा स्थापित किया जा रहा है, जबकि बठिंडा रिफायनरी के नज़दीक 250 बिस्तरों वाला अस्थाई अस्पताल बनाया जा रहा है, जहाँ रिफायनरी से ऑक्सीजन की सप्लाई होगी। उन्होंने सभी विभागों को कोविड की पीक के लिए तैयार रहने और विभिन्न जि़लों में अस्थाई अस्पताल बनाने के लिए स्थानों की पहचान करने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि स्तर-2 पर बिस्तरों की उपलब्धता वैसे तो अभी प्रबंधनयोग है, परन्तु स्तर-3 में भरे बिस्तरों की संख्या 82 प्रतिशत तक पहुंच गई है। सरकारी मैडीकल कॉलेज और अस्पताल पटियाला और अमृतसर में 600 अतिरिक्त बिस्तरों के साथ पंजाब में और 2000 बिस्तरों का प्रबंध किया जा रहा है। फ़तेह किटें ख़ासकर ऑक्सीमीटजऱ् की कमी को देखते हुए उन्होंने मुख्य सचिव का सुझाव मानते हुए ठीक हुए मरीज़ों के पास से ऑक्सीमीटर वापस लेने की बात कही, जोकि अच्छी तरह सैनीटाईज़ करने के उपरांत आगे प्रयोग के लिए दिए जाएंगे। डॉ. के.के. तलवाड़, जो राज्य सरकार के कोविड विशेषज्ञ ग्रुप के प्रमुख हैं, ने कहा कि सभी अस्पतालों को ऑक्सीजन का दुरुपयोग चैक करने के लिए विस्तृत दिशा-निर्देश मुहैया करवाए जाएंगे। उन्होंने आगे कहा कि ठीक हुए मरीज़ों को स्तर-2 से स्तर-3 के खाली बेड्ज़ पर शिफ्ट किया जा रहा है। मुख्य सचिव विनी महाजन ने कहा कि मौजूदा समय गंभीर स्थिति को देखते हुए पंजाब यूनिवर्सिटी, चंडीगढ़ को सलाह दी गई है कि सैनेट मतदान फि़लहाल न करवाए जाएँ। इससे पहले स्वास्थ्य सचिव हुसन लाल ने संक्षिप्त पेशकारी में बढ़ती हुई पॉजि़टिविटी दर और मृत्यु दर की तरफ इशारा करते हुए बताया कि पंजाब में मौजूदा समय में पॉजि़टिविटी दर 12 प्रतिशत है, जब कि एस.ए.एस. नगर (मोहाली) में सबसे अधिक 22.9 प्रतिशत है। अमृतसर के डिप्टी कमिश्नर और पुलिस कमिश्नर सुखचैन गिल ने ऑक्सीजन संकट पर चिंता ज़ाहिर की, जिसके लिए ग्रीन कौरीडोर अन्य जि़लों से आपातकालीन सप्लाई के द्वारा रोज़ाना की पूर्ति करने की ज़रूरत है। उन्होंने कहा कि सरकारी अस्पतालों और प्राईवेट अस्पतालों में ऑक्सीजन का ऑडिट किया जा रहा है।

उन्होंने बताया कि सरकारी अस्पतालों में एल-3 के 200 बेडों में से 196 बेड मरीज़ों से भरे हुए हैं, जबकि जि़ले में 30 और बेड शामिल किए गए हैं। जि़ले में चार कंटेनमैंट और 32 माईक्रो कंटेनमैंट ज़ोन घोषित किए गए हैं और कंटैकट ट्रेसिंग बढ़ाने के लिए भी कदम उठाए जा रहे हैं। चिकित्सा शिक्षा मंत्री ओ.पी. सोनी ने मीटिंग के दौरान बताया कि अमृतसर में सभी मैडीकल कॉलेजों की ओ.पी.डी. सेवाएं बंद कर दीं हैं और स्टाफ को कोविड ड्यूटी में लगाया जा रहा है। बठिंडा के डिप्टी कमिश्नर ने जि़ला प्रशासन के यत्नों को पूरा करने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि इन यत्नों के अंतर्गत बठिंडा रिफाइनरी में 25 बिस्तरों के सामथ्र्य वाला अस्पताल बनाया जा रहा है और ऑक्सीजन की सप्लाई रिफाइनरी से होनी है। लुधियाना के डिप्टी कमिश्नर वरिन्दर कुमार ने कहा कि वर्धमान मिल के बंद पड़े ऑक्सीजन यूनिट को फिर चालू कर दिया गया और एक अन्य को भी कार्यशील किया गया है। उन्होंने कहा कि जि़ले में 30 अप्रैल तक पॉजि़टिविटी दर 16 प्रतिशत पर खड़ी है और दिल्ली एवं गुडग़ाँव समेत अलग-अलग अन्य स्थानों से मरीज़ बड़ी संख्या में आ रहे हैं। उन्होंने बताया कि इस समय पर जि़ले में 2 कंटेनमैंट और 8 माईक्रो कंटेनमैंट ज़ोन हैं। लुधियाना के पुलिस कमिश्नर ने कहा कि इस हफ़्ते 27 पुलिस जवान कोविड के सक्रमण के शिकार हुए हैं और इनमें से कोई भी गंभीर नहीं, क्योंकि इन सभी ने कोविड से बचाव के टीके लगवाए हुए हैं। मीटिंग में बताया गया कि पटियाला जि़ले में ऑक्सीजन के ऑडिट से माँग घटी है और जि़ले में कंटेनमैंट ज़ोन बढ़ाए गए हैं और ऐसे ज़ोनों में 100 प्रतिशत टेस्टिंग की जा रही है। जि़ले में एल-2 और एल-3 में और बेड शामिल किए गए हैं। मीटिंग में बताया गया कि अत्यधिक प्रभावित मोहाली जि़ले में 90 प्रतिशत बेड भरे हुए हैं। डिप्टी कमिश्नर गिरिश दयालन ने बताया कि बड़ी संख्या में मरीज़ दिल्ली-एन.सी.आर. से आए हैं। उन्होंने कहा कि ट्राईसिटी के अन्य हिस्सों द्वारा साप्ताहिक लॉकडाउन के लिए सहमति न होने के कारण स्थिति गंभीर बनी है।

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