वन क्षेत्र में ग़ैरकानूनी माइनिंग बिल्कुल भी बर्दाश्त नहीं: साधु सिंह धर्मसोत

चंडीगढ़ (द स्टैलर न्यूज़)। पंजाब के वन एवं वन्य जीव सुरक्षा मंत्री स. साधु सिंह धर्मसोत ने कहा है कि पंजाब के वन क्षेत्र में ग़ैरकानूनी माइनिंग बिल्कुल भी बर्दाश्त नहीं की जायेगी। धर्मसोत ने आज यहाँ पंजाब के समस्त डी.एफ़.ओज़ के साथ मीटिंग के दौरान वन विभाग के अधिकारियों को सख्त हिदायत देते हुए कहा कि यदि किसी भी वन अधीन आते इलाके के अंदर ग़ैरकानूनी माइनिंग की सूचना मिली तो जि़म्मेदार अधिकारियों और कर्मचारियों पर कार्यवाही की जायेगी। उन्होंने विभागीय अधिकारियों को जिला मोहाली के अधीन पड़ते कंडी क्षेत्र के गाँवों मुल्लांपुर, पड़ोल, माजरी और खरड़ आदि क्षेत्रों में गैरकानूनी माइनिंग सम्बन्धित मुकम्मल रिपोर्ट तैयार करने की हिदायतें भी दीं।

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धर्मसोत ने वन और जि़ला अधिकारियों को सख़्त शब्दों में कहा कि वन की जो भी ज़मीन नाजायज कब्ज़े में है, उसको जल्द से जल्द कब्ज़ा-मुक्त करवाया जाये। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि यदि विभाग की ज़मीन खाली करवाने में कोई दिक्कत आती है तो तुरंत उनके ध्यान में लाया जाये। विभाग की ज़मीनों को कब्ज़ामुक्त करने का न्योता देते हुए उन्होंने कहा कि अधिकारियों को इस संबंधी मुहिम चलाने के निर्देश दिए।
स. धर्मसोत ने लकड़ी उद्योगों से सम्बन्धित लाईसंस धारकों संबंधी निर्देश देते हुए कहा कि यदि कोई लाईसंस धारक 3 से 6 महीनों में अपना कारोबार शुरू नहीं करता तो सम्बन्धित का लाईसंस रद्द कर दिया जायेगा। उन्होंने रूपनगर जिले के गाँव खरोड़ा में पी.एल.पी.ए. एक्ट के अंतर्गत ग़ैरकानूनी बनाए जा रहे रिजोर्ट के मामले को गंभीरता से लेते हुए इसकी जांच के निर्देश भी दिए।

स. धर्मसोत ने इस अवसर पर अधिकारियों को वृक्षों की ग़ैरकानूनी कटाई को रोकने, मेडिसिनल प्लांट लगाने और ग्रीन इंडिया मिशन और एग्रो फारैस्ट्री स्कीमों को लागू करने संबंधी भी हिदायतें दीं। इस अवसर पर अतिरिक्त मुख्य सचिव वन श्री सतीश चंद्र, प्रमुख मुख्य वनपाल श्री जतिंद्र शर्मा के अलावा वन विभाग के उच्च अधिकारी और डी.एफ़.ओज़ उपस्थित थे।

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