जोगी हवा सिंह की बीन क्षेत्रीय सरस मेले में बनी आकर्षण का केंद्र

होशियारपुर(द स्टैलर न्यूज़),रिपोर्ट: मुक्ता वालिया। लाजवंती आउटडोर स्टेडियम होशियारपुर में चल रहे क्षेत्रीय सरस मेले में जहां विभिन्न राज्यों की कलाकृतियां लोगों की पहली पसंद बनी है वहीं नार्थ जोन कल्चरल सैंटर पटियाला की ओर से करवाए जा रहे सांस्कृतिक कार्यक्रम के कारण भारत के अलग-अलग राज्य एक मंच पर आ गए हैं। इस मंच पर इलाका निवासी भारत की अलग-अलग संस्कृति, रहन सहन व खान पान को देखकर खासे उत्साहित हैं। वहीं इस मेले में आने जाने वालों के लिए जोगी हवा सिंह की बीन आकर्षण का केंद्र बनी हुई है।

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79 वर्षीय हवा सिंह की बीन ने सभी को मंत्रमुग्ध कर दिया है। अपनी बीन से सांपों को मंत्रमुग्ध करने वाले जोगियों ने सरस मेले में होशियारपुर के लोगों को ही अपनी जादुई धुन से वश में कर लिया है। हरियाणा राज्य के 15 सदस्य की इस टीम ने एक राधा, एक मीरा व दमा दम मस्त कलंदर व अन्य गीतों की धुन से समां बांध दिया। हवा सिंह ने बताया कि वे पिछले 50 वर्षों से बीन बजा रहे हैं और अब उनके बेटे और पोते भी उनके इस कार्य में साथ देते हैं। हवा सिंह बताते हैं कि देश के अलग-अलग राज्यों के अलावा वे दुबई, शारजहां, आबूधाबी व इटली में भी कला का प्रदर्शन कर चुके हैं।

– विभिन्न राज्यों की हाथों से बनी कलाकृतियों लोगों की बनी पसंद

भारतीय संस्कृति का प्रतीक बने सरस मेले में दूर-दूर से आए दस्तकारों व शिल्पियों की कला का हर कोई कायल है। 24 राज्यों की संस्कृति व 260 अधिक विभिन्न राज्यों की परंपरा को दर्शाते स्टाल से हर कोई कुछ न कुछ खरीददारी करना चाहता है क्योंकि यही अवसर है जब एक छत के नीचे ही लोगों को अलग-अलग राज्यों से जुड़ी हाथों से बनी कलाकृतियां आसानी से उपलब्ध हो रही है।

अतिरिक्त जिलाधीश(विकास) हरबीर सिंह ने कहा कि क्षेत्रीय सरस मेले का मकसद ही लोगों को उनकी परंपरा व संस्कृति के साथ जोडऩा है। उन्होंने कहा कि सरस मेला ज्ञान में वृद्धि करने के लिए कारगर सिद्ध हो रहा है और हर व्यक्ति को ज्ञान बढ़ाने के लिए इस मेले में जरु र शिरकत करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि मेले में अलग-अलग राज्यों की बनी वस्तुएं देखने को मिल रही हैं। इसके अलावा उनकी भाषा, पहरावे व लोक नृत्यों के बारे में भी पता चलता है।

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