होशियारपुर, 26 अगस्त: लोगों को आंखें दान करने के लिए जागरुक करने संबंधी राष्ट्रीय नेत्रदान पंदरवाड़े तहत जीते जी खूनदान तथा मरने उपरांत आंखें दान विषय पर सैमीनार तथा जागरुकता रैली निकाली गई। इस अवसर पर रैली को सी.एच.सी हारटा बॅडला से सीनीयर मैडीकल अफसर डा. सुरिन्दर सिंह दर्दी ने रवाना किया। इस अवसर पर उनके साथ आंखों के माहिर डा. राज राम मोहन भाटीया उपस्थित थे। इस अवसर पर डा. दर्दी ने कहा कि आंखों का दान एक ऐसा विषय है जिससे जागरुक होने की बेहद जरुरत है। उन्होंने कहा कि एक व्यक्ति द्वारा नेत्रदान करने से दो व्यक्तियों को रौशनी मिलती है। उन्होंने कहा कि यह प्रक्रिया बेहद आसान है तथा इससे व्यक्ति के चेहरे पर भी कोई असर नही होता। उन्होंने कहा कि 10 वर्ष से अधिक उम्र का कोई भी व्यक्ति मरने उपरांत आंखें दान कर सकता है। इस अवसर पर डा. अमित महिता, डा. मोनिका, मैडम राजिन्दर कौर, मुलख राज, अजमेर सिंह आदि उपस्थित थे।