जलियांवाला नरसंहार की शताब्दी पर भारत विकास परिषद ने दी शहीदों को श्रद्धांजलि

होशियारपुर(द स्टैलर न्यूज़),रिपोर्ट: गुरजीत सोनू। भारत विकास परिषद की विशेष बैठक प्रधान राजिंदर मोदगिल की अध्यक्षता में सम्पन्न हुई। जिसमें संजीव अरोड़ा सारक्षक भारत विकास परिषद विशेष रूप से शामिल हुए। इस मौके पर 13 अप्रैल 1919 को हजारों भारतीय जोकि शांतमयी ढंग से अमृतसर जलियांवाला बाग में देश भक्ति के गीत गा रहे थे और देश की बेहतरी की बातें कर रहे थे। उस समय के अंग्रेजी शासक जनरल डायर ने अचानक अपने सिपाहियों को हुक्म दिया कि इन देश भक्तों को गोलियों से उठा दिया जाए। उस दिन बैसाखी का दिन था और हजारों की संख्यां में भारतीय बैसाखी मनाने के लिए जलियांवाला बाग में इक्ट्ठे हुए थे।

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बाग का रास्ता बहुत ही तंग व छोटा था वहां पर जनरल डायर के सिपाही रास्ता रोककर मशीनगनों के साथ खड़े हो गए और अचानक गोलियां चलानी शुरू कर दी। इस प्रकार हजारों की संख्या में भारतीय स्वतंत्रता सैनानी शहीद हो गए। इस भागदौड़ में सैकड़ों लोगों ने अपनी जान बचाने के लिए कुएं में छलांग लगा दी और वो भी दम घुटने से शहीद हो गए। श्री संजीव अरोड़ा ने शहीदों को श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि आज इस नरसंहार की शताब्दी हो गई है शहीदों का खून आजाई नहीं गया वह ब्रिटिश सम्राज्य के लिए आखिरी कील साबित हुआ तथआ हमें आजादी मिली। इस दौरान प्रधान राजिंदर मोदगिल ने बताया कि भारत विकास परिषद अपने पांच सूत्रिय कार्यक्रम के अनुसार हमेशा ही देश भक्ति व सेवाभावना के प्रकल्पों में अग्रणी रहती है।

श्री मोदगिल ने भी शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित की। बैठक में सभी उपस्थित सदस्यों ने 2 मिनट का मौन रखा। उपरांत वन्दे मातरम व भारत माता की जय के नारे लगाए। एडवोकेट गौरव गर्ग ने भी इस अवसर पर अपने विचार पेश किए और भारत विकास के इस कदम की सराहना की। अंत में सभी मैंबरों द्वारा मोमबत्तियां जलाकर देश के शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित की गई। इस अवसर पर संजीव अरोड़ा सारक्षक, राजिंदर मोदगिल प्रधान, एस.के. नकड़ा सचिव, वरिंदर चोपड़ा, दविंदर अरोड़ा, गौरव गर्ग, जगदीश अग्रवाल, शाम नागपाल, विनोद पसान, आज्ञापाल सिंह साहनी, शाम नरूला, राजीव मनचंदा, रवि कुमार हीर, प्रदीप डडवाल, मास्टर गुरप्रीत सिंह इत्यादि उपस्थित थे।

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