कैप्टन अमरिंदर ने स्वास्थ्य व वैलनैस सैंटरों को चलाने में बेहतर कारगुजारी वाले राज्यों में पंजाब के अग्रणी रहने पर दी मुबारकबाद

चंडीगढ़ (द स्टैलर न्यूज़)। पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने सोमवार को राज्य के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग को बधाई दी कि स्वास्थ्य एवं वैलनैस सैंटरों को चलाने के मामले में बेहतर प्रदर्शन करने वाले राज्यों में पंजाब ने पड़ोसी राज्यों दिल्ली, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश से आगे रहते हुए उच्चतम रैंकिंग हासिल की। भारत सरकार की तरफ से जारी ताजा रैंकिंग में पंजाब का पहला स्थान दर्शाता है कि राज्य में बेहतर स्वास्थ्य बुनियादी ढांचा और शिक्षित मानवीय शक्ति है जबकि हरियाणा इस सूची में फिसल कर 14वें स्थान पर चला गया और हिमाचल प्रदेश 9वें स्थान पर है। दिल्ली जिसके स्वास्थ्य मॉडल संबंधी ज्यादा शौर है, 29वें स्थान पर है। स्वास्थ्य विभाग जो इस समय कोविड महामारी के साथ लड़ रहा है, की इस प्राप्ति पर बधाई देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि विभाग ने अपनी स्वास्थ्य संभाल सहूलतों को मजबूत करके उनकी सरकार की सभी को किफायती स्वास्थ्य सहूलतें प्रदान करने की वचनबद्धता के लक्ष्य को पूरा किया है।

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उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य उनकी सरकार की मुख्य प्राथमिकता है खासकर कोरोना महामारी के दौर में जब इन परिस्थितियों ने मैडीकल और स्वास्थ्य ढांचे में और ज्यादा निवेश करने की जरूरत को दिखाया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि यह अग्रणी स्थान स्वास्थ्य एवं परिवार क्ल्याण विभाग के समर्पित स्टाफ की कड़ी मेहनत स्वरूप ही संभव हुआ है जिसमें डॉक्टर, पैरामैडिक्स और स्वास्थ्य कामगार शामिल हैं जिन्होंने कोरोना योद्धे बनकर दिन-रात काम किया है। कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने इस महान प्राप्ति के लिए स्वास्थ्य एवं परिवार क्ल्याण मंत्री की भी भरपूर प्रशंसा की। मुख्यमंत्री ने स्वास्थ्य एवं वैलनैस सेंटरों की सराहना करते हुये कहा कि इन केन्द्रों ने न सिफऱ् महामारी और लॉकडाऊन के समय में प्रभावशाली तरीके से रोज़मरा की सेवाएं दीं बल्कि कोविड के खि़लाफ़ जंग में भी बड़ा सहयोग दिया। सैंटर की टीमों ने आगे लग कर कोविड के संदिग्धों के सैंपल लिए और यह टीमें निरंतर घरों में एकांतवास में ठहरे लोगों को भी मिलती रही जिससे कोरोना के लक्षण डाले पाये पर उनको ज़रूरी दिशा निर्देश दिए जा सकें।

इन टीमों ने कोविड के पॉजिटिव मरीज़ों की संपर्क ट्रेसिंग ढूँढने में भी सेवाएं निभाई। कोविड -19 के संकट के समय दौरान भी इन स्वास्थ्य एवं वैलनैस सेंटरों में पिछले पाँच महीनों में 6.8 लाख दिल के मरीज़ों, शुगर के 4 लाख और 6 लाख मुँह, छाती या सरवाईकल के कैंसर के मरीजों की स्क्रीनिंग की। 2.4 दिल के रोगों के मरीज़ों और 1.4 लाख शुगर के मरीज़ों को दवाएँ भी दीं। मार्च 2020 में पंजाब सरकार ने स्वास्थ्य एवं वैलनैस सेंटरों में टैलीमैडीसन की भी शुरुआत की और चंडीगढ़ के सैक्टर 11 में 4 मैडीकल अफसरों के साथ टैलीमैडीसन का बड़ी मुख्य केंद्र स्थापित किया गया। इस पहलकदमी के अंतर्गत स्वास्थ्य एवं वैलनैस सैंटर सब सैंटर का कम्युनिटी हैल्थ अफ़सर वीडियो कालिंग के द्वारा मुख्य केंद्र के मैडीकल अफसरों के संपर्क में रहता है। मैडीकल अफ़सर वर्चुअल प्लेटफार्म के द्वारा मरीज़ को देखता है और संकेत और लक्षणों के मुताबिक दवा बताता है। इसके बाद कम्युनिटी हैल्थ अफ़सर मरीज़ को ई-संजीवनी के द्वारा बतायी विधि के मुताबिक दवा दे देता है।

अब तक इस विधि के द्वारा 5000 मरीज़ों को सलाह परामर्श दिया जा चुका है। मुख्यमंत्री दफ़्तर के प्रवक्ता ने कहा कि स्वास्थ्य एवं वैलनैस स्कीम कैप्टन अमरिन्दर सिंह सरकार की तरफ से 2019 में शुरू की गई थी और अब तक राज्य भर में 2042 सैंटर चल रहे हैं। इन केन्द्रों में 1600 कम्युनिटी हैल्थ अफ़सर नियुक्त किये जा चुके हैं और 823 और कम्युनिटी हैल्थ अफसरों को उनका कोर्स पूरा होने के बाद इस साल के अंत तक नियुक्त किया जायेगा। प्रवक्ता ने बताया कि कोविड -19 महामारी के कारण लगाए लॉकडाऊन के कारण बन्दिशों के बावजूद पिछले पाँच महीनों में राज्य भर के इन सेंटरों में 28.1 लाख मरीज़ आए। इन सेंटरों में कम्युनिटी हैल्थ अफ़सर की तरफ से मल्टीपरपज़ हैल्थ वर्कर (पुरुष और महिला) और आशा वर्करों की टीमों के साथ ओ.पी.डी.सेवाएंं, जनन और बाल स्वास्थ्य (आर.सी.एच.) सेवाएं, छूत और ग़ैर छूत के रोगों के लिए रोकथाम और इलाज की क्लिनीकल सेवाएं दी जाती हैं। इन केन्द्रों में 27 मुफ़्त ज़रूरी दवाएँ और 6 डायगनौस्टिक उपलब्ध हैं।

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