नाजायज माइनिंग के दोषों के अंतर्गत भूपिन्दर हनी, कुदरतदीप पर मामला दर्ज़

चंडीगढ़ (द स्टैलर न्यूज़)। मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व वाली पंजाब सरकार की तरफ से ग़ैर-कानूनी माइनिंग के विरुद्ध न- काबिल-ए-बर्दाश्त नीति अपनाने के मद्देनजऱ, पंजाब पुलिस ने सोमवार को कुदरतदीप सिंह उर्फ लवी और उसके सहयोगी भूपिन्दर सिंह उर्फ हनी के विरुद्ध साल 2017 के दौरान मलिकपुर माइनिंग साइट क्षेत्र में ग़ैर-कानूनी माइनिंग करने के दोष के अंतर्गत एफ. आई. आर. दर्ज की है। एफ. आई. आर. दर्ज करने के उपरांत, पुलिस की तरफ से भूपिन्दर उर्फ हनी को उक्त मामले की जांच में शामिल होने के लिए नोटिस भी भेजा गया है, जबकि कपूरथला जेल में बंद कुदरतदीप को मंगलवार को प्रोडक्शन वारंट पर लाया जायेगा।

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यह कार्यवाही दो महीने के बाद अमल में आई, जब इनफोरसमैंट डायरैक्टोरेट ने अपने पत्र (तारीख़ 9 मई, 2022) के द्वारा एस.एस.पी. एस.बी.एस. नगर को 73 वेटमैंट स्लिपों ( तारीख़ 10/ 11/ 2017) संबंधी जानकारी सांझा की थी और इसके अलावा माइनिंग विभाग को मलिकपुर रेत माइनिंग साइट से नाजायज माइनिंग के द्वारा अधिकारित मात्रा से ज्यादा रेत बरामद होने संबंधी जानकारी सांझा की थी।

जि़क्रयोग्य है कि साल 2021 के अंत में डायरैक्टोरेट आफ इनफोरसमैंट जालंधर ने भूपिन्दर सिंह उर्फ हनी और कुदरतदीप सिंह उर्फ लवी के टिकानों पर छापेमारी की थी। ई.डी. ने फिर अलग-अलग फज़ऱ्ी दस्तावेज़, डिजिटल उपकरण और मलिकपुर रेत माइनिंग साइट पर ग़ैर-कानूनी रेत माइनिंग गतिविधियों के ज़रिये कमाऐ  9.97 करोड़ रुपए की नकदी भी बरामद की थी।

पंजाब पुलिस के प्रवक्ता ने बताया कि ई.डी. के पत्र के बाद, एस.एस.पी. एस.बी.एस. नगर ने इस मामले में आगे जांच के लिए एस.बी.एस. नगर के एस.पी. इन्वेस्टिगेशन की निगरानी अधीन तुरंत एक विशेष जांच टीम का गठन किया था।

प्रवक्ता ने बताया कि गहराई से जांच करने के बाद, सिट ने पाया कि दोनों मुलजिमों ने राज्य स्तरीय वातावरण अथॉरिटी, पंजाब द्वारा जारी वातावरण क्लीयरेंस के प्रबंधों का उल्लंघन करते हुये उस क्षेत्र में भारी मशीनरी का प्रयोग करके ग़ैर-कानूनी माइनिंग की थी। प्रवक्ता ने आगे कहा कि दोषियों ने 73 जाली वेटमैंट स्लिपों ( तारीख़ 10. 11. 2017) का भी प्रयोग किया भी पाया गया, जो ई. डी. द्वारा छापेमारी के दौरान बरामद की गई। पुलिस को माइनिंग विभाग को रिपोर्ट किये गए रेत से अधिक उत्पादन के विवरण भी मिले हैं जिसकी पुष्टि माइनिंग विभाग ने अपने पत्र तारीख़ 29. 06.2022 के द्वारा की थी, जिसमें माइनिंग विभाग को रेत की कम खुदाई का हवाला दिया गया था, जोकि सरकारी खजाने को वित्तीय नुकसान की वजह है।

प्रवक्ता ने बताया कि पूरी जांच के बाद एस.आई.टी. ने भूपिन्दर सिंह उर्फ हनी और कुदरतदीप सिंह उर्फ लवी के खि़लाफ़ एफ.आई.आर. दर्ज करने की सिफ़ारिश की।

जि़क्रयोग्य है कि 18 जुलाई, 2022 को एफ. आई. आर. नम्बर 73, माईनज एंड मिनरलज़ (विकास और नियम) एक्ट की धाराओं 21(1) और 4 (1), आइपीसी की धारा 379, 406, 420, 465, 468, 471 और 120 बी और वातावरण सुरक्षा एक्ट की धारा 15 के अंतर्गत थाना राहों में दर्ज की गई है। मामले की आगे जांच के लिए एस.पी. इन्वेस्टिगेशन की निगरानी अधीन नयी विशेष जांच टीम का गठन किया गया है।

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