सत्संग में आने से मन को अच्छी मिलती है खुराक: महात्मा अवतार सिंह

होशियारपुर(द स्टैलर न्यूज़), रिपोर्ट: जतिंदर प्रिंस। बोलने की अपेक्षा ज़्यादा कर्म करने के साथ जीवन खुशहाल बन जाता है। सत्गुरू ने हमें बहुत ज़्यादा दिया है, हमें हमेशा निरंकार प्रभु का धन्यवाद करते रहना चाहिए। जो सत्गुरू का संदेश आ रहा है उसको जीवन में अपना लें। उक्त विचार संत निरंकारी मिशन की ब्रांच मकोवाल में गढ़दीवाला ब्रांच के मुखी महात्मा अवतार सिंह जी ने जोनल टूर दौरान पहुँच कर सप्ताहिक सत्संग दौरान प्रकट किये। उन्होंने कहा कि मनुष्य को अपने आप को ही बदलना होगा, उन्होंने एक शायर की एक लायन हमारे से है जमाना तो बदलना किस को है, हम बदलें तो ज़माना अपने आप ही बदल जाएगा। उन्होंने कहा कि सत्गुरू माता सुदीक्षा जी महाराज का यही संदेश है कि जो कह रहे है उस पर चलना होगा तब ही आनंद आऐगा, तब हमारा समाज सुधरेगा, देश सुधरेगा।

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उन्होंने आगे कहा कि जो गुरसिख इस निरंकार प्रभु का सहारा लेता है, उसका कोई काम नहीं रुकता, कोई रोग नहीं आता। सत्संग में आने साथ मन को अच्छी ख़ुराक मिलती है। मन का ही सारा खेल है, मन जि़ंदगी को कभी आसान और कभी तंग कर देता है यदि मन को अच्छी खुराक मिले तो जिंदगी आसान है। हमेशा ही गुरसिख सत्गुरू के चरणों में अरदास करता है कि मन को अपने चरना में हमेशा लगा कर रखने। हम सब हमेशा ही मन को सत्गुरू की चरणों में समर्पत करके हमेशा ही शुकराना करो।

उन्होंने हरदेव वाणी के शब्द का सहारा ले कर समझाया कि निरंकार मौन है कितना, हम भी कम बोला करें, भाव हमेशा ही कम बोलना चाहिए और ज़्यादा से ज़्यादा कर्म रूप के कर प्रचार करना चाहिए। आध्यात्मिक विद्या से बड़ी कोई विद्या नहीं, जो हमें मिली है उसके लिए हमेशा ही सत्गुरू का शुकराना करते रहें। इस से पहले मकोवाल ब्रांच के प्रमुख महात्मा ब्रह्म दास जी ने गढ़दीवाला ब्रांच के मुखी अवतार सिंह और संगत का धन्यवाद किया।

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