प्रधानमंत्री मोदी ने गोरखपुर में 10 हजार करोड़ की परियोजनाओं का किया लोकार्पण, सपा पर साधा निशाना

गोरखपुर (द स्टैलर न्यूज़)। गोरखपुर जिले के विकास के सफर में एक नया अध्याय जुड़ गया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 10 हजार करोड़ की लागत से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के ड्रीम प्रोजेक्ट खाद कारखाना, एम्स और बाबा राघव दास मेडिकल कॉलेज के रीजनल मेडिकल रिसर्च सेंटर (आरएमआरसी) का लोकार्पण किया। वर्ष 2016 में प्रधानमंत्री ने ही खाद कारखाना और एम्स की नींव रखी थी। अब उन्होंने खुद अपने हाथों इसे जनता को समर्पित किया। इस दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि हमने पहले की सरकारों के दिन भी देखें हैं जब अनाज होते हुए भी गरीबों को अनाज नहीं मिलता था। आज हमने गरीबों के लिए अनाज के गोदाम खोल दिए हैं। हाल ही में पीएम अन्न योजना को होली से आगे तक के लिए बढ़ा दिया गया है। पहले यूपी के कुछ जिले बिजली के मामले में वीआईपी थे लेकिन योगी जी के राज में हर जिला वीआईपी है। सभी को भरपूर बिजली मिल रही है। पहले की सरकारों ने दबंगों को संरक्षण दिया था लेकिन योगी जी ने पुलिस व्यवस्था दुरुस्त कर निवेशकों के लिए द्वार खोल दिए हैं। इसी के साथ पीएम ने अपने संबोधन को खत्म किया।

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पीएम ने पिछली सरकारों पर निशाना साधते हुए कहा कि 2017 से पहले की सरकारों ने गोरखपुर एम्स के लिए जमीन देने में आनाकानी की गई। बहुत दबाव पडऩे पर बेमन से उन्होंने एम्स के लिए जमीन दी। ये लोग इस बात को कभी नहीं समझेंगे कि कोरोना के संकट काल में भी विकास के काम डबल इंजन सरकार ने रुकने नहीं दिया। लोहिया और जयप्रकाश नारायण के संस्कारों को ये लोग कब का छोड़ चुके हैं। आज पूरा यूपी जानता है कि लाल टोपी वालों को लाल बत्ती से मतलब रहा है। इन्हें सत्ता से मतलब रहा है, आतंकवादियों पर मेहरबानी दिखाने उन्हें जेल से छुड़ाने के लिए। लाल टोपी वाले यूपी के लिए रेड अलर्ट हैं। यानी खतरे की घंटी हैं।
पीएम ने कहा कि किसी भी देश में स्वास्थ्य सुविधाएं सस्ती हों तो वहां का विकास होता है। पहले सोचा जाता था कि एम्स जैसे बड़े मेडिकल संस्थान बड़े शहरों के लिए होते हैं लेकिन हमारी सरकार ऐसे संस्थानों को देश के सुदूर क्षेत्रों तक ले जा रही है। इस सदी की शुरुआत तक केवल एक एम्स था, अटल जी ने छह एम्स शुरू किए और बीते सात सालों में 16 नए एम्स बनाने का काम चल रहा है। हमारा लक्ष्य है कि हर जिले में कम से कम एक मेडिकल कॉलेज हो और हमें खुशी है कि यह काम तेजी से चल रहा है। हाल में आपने मुझे सौभाग्य दिया था कि 9 मेडिकल कॉलेज का एक साथ लोकार्पण करूं। हमारे लिए स्वास्थ्य सुविधा और समृद्धि सर्वोपरि है। विशेषकर हमारी माताओं-बहनों का स्वास्थ्य पर महत्वपूर्ण है। इसके साथ ही घर, शौचालय, बिजली, टीका व अन्य सुविधाएं घर की महिलाओं को मिली है। देश में पहली बार महिलाओं की संख्या पुरुओं से अधिक हुई है। महिलाओं का जमीन व मकान पर मालिकाना हक बढ़ा है। इसमें यूपी टॉप पर है।
पहले गोरखपुर में सिर्फ एक मेडिकल कॉलेज था लोगों को इलाज के लिए बनारस और लखनऊ जाना पड़ता था। जब आपने हमें सेवा का अवसर दिया तो इतना बड़ा एम्स बन गया और रिसर्च सेंटर की अपनी बिल्डिंग भी तैयार है। दिमागी बुखार फैलाने की वजह को दूर करने का काम किया जिसकी मेहनत आज जमीन पर दिख रही है और दिमागी बुखार के मामले 90 प्रतिशत तक कम हो गए हैं। इससे इंसेफेलाइटिस से मुक्ति के अभियान को मजबूती मिलेगी।
पीएम मोदी ने कहा कि गन्ना किसानों का गढ़ पूर्वांचल का यह एरिया इथेनॉल उत्पादन के लिए भी महत्वपूर्ण है। पहले खाड़ी का तेल आता था अब झाड़ी का भी तेल आने लगा है। मैं योगी सरकार की सराहना करता हूं कि उन्होंने गन्ना किसानों के लिए अभूतपूर्व काम किया है। 350 रुपये तक मूल्य बढ़ाया। पिछली दो सरकारों ने जितना मिलकर किया योगी जी ने सिर्फ साढ़े चार में ही गन्ना किसानों को भुगतान किया।
पीएम ने कहा कि खाद के मामले में आत्मनिर्भरता क्यों जरूरी है उसे कोरोना काल में हमने देखा। अंतरराष्ट्रीय व्यापार बंद होने से खाद के दाम भी अंतरराष्ट्रीय बाजार में बहुत बढ़ गए। लेकिन हमने इसका बोझ किसानों पर नहीं पडऩे दिया। इसी साल खाद के दाम बढऩे पर हमें तैंतालीस हजार करोड़ रुपये की सब्सिडी बढ़ानी पड़ी। क्योंकि कीमतों का असर हमारे किसानों पर न जाए। विश्व में जहां 60-65 रुपये किलो में खाद बिक रहा है वहीं हम भारत में 10 से 12 गुना कम कीमत पर उपलब्ध कराने के लिए प्रतिबद्ध हैं। इसके लिए राष्ट्रीय मिशन भी शुरू किया गया है।
हमने तीन सूत्रों पर काम करना शुरू किया- यूरिया की शत प्रतिशत नीम कोटिंग की और दुरुपयोग रोका। दूसरा लोगों को यूरिया के कार्ड दिए ताकि पता चले कि किस खेत को कैसे खाद की जरूरत है। तीसरा हमने यूरिया उत्पादन बढ़ाया। बंद पड़ चुके कारखानों को हम खोल रहे हैं। एक शुरू हो गया है बाकी अन्य भी आने वाले सालों में भी खुल जाएंगे। जिस तरह से भगीरथ जी गंगा को लेकर आए थे उसी तरह इस खाद कारखाने तक ईंधन को पहुंचाने के लिए ऊर्जा गंगा को लाया गया है। हल्दिया से गोरखपुर तक गैस पाइपलाइन बिछाई गई है। इससे यहां तो ईंधन पहुंचा ही पूर्वी यूपी के कई शहरों में गैस पाइप लाइन से सस्ती गैस मिल रही है। मैंने कहा था कि गोरखपुर यूपी के विकास की धुरी बनेगा जो सच हो रहा है। यह कारखाना रोजगार और स्वरोजगार के अवसर भी देगा। पूर्वांचल में अनेक नए बिजनेस शुरू होंगे।

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